बहुत खूब सूरत है आखै तुम्हारी इन्हें बना दो किस्मत हमारी हमें नहीं चाहिये ज़माने की खुशियाँ अगर मिल जाये मोहब्बत तुम्हारी
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें